संदेश
विधा/विषय "उमंग"
उमंग - कविता - रमाकांत सोनी
गुरुवार, मार्च 04, 2021
चंचल मन हिलोरे लेता, उमंग भरी बाग़ानों में। पीली सरसों ओढ़े वसुंधरा, सज रही नए परिधानों में।। मादक गंध सुवाशित हो, बहती मधुर बयार यहाँ…
उमंगों की राह - कविता - सुनील माहेश्वरी
सोमवार, जनवरी 25, 2021
भोर हुई शुरुआत नयी कर, तिमिर का हुआ अब अंत, जीवन गर जीना है तो, ख़्वाहिशों को अनंत कर। बीते दिन को विस्मृत कर दे, स्वछंद सोच से विहार क…