युवा शक्ति - कविता - अर्चना कोहली

युवा-शक्ति है नव-चेतना नव-स्फूर्ति आधार,
अदम्य साहस-संकल्प होते उनकी तेज़ धार।
इन्हीं के बल पर देश दिनोदिन प्रगति करता
सुंदर और उज्ज्वल भविष्य की नींव रखता।।

देश का अनमोल न्यास युवा-शक्ति कहलाते,
निज कौशल-संगठन से परचम वे लहराते।
युवाओं ने ही देश को प्रगति राह पर चलाया,
विश्व-गुरु की राह पर इन्होंने ही तो पहुँचाया।।

निज दम पर युवा अखंड भारत बना सकते,
मिलकर विजय श्री का शंखनाद कर देते।
हर क्षेत्र में मिसाल युवा-सितारों ने बनाई है,
चहुँदिश में उनकी ही शोहरत नज़र आई है।।

अज्ञान रूपी तमस को निज बल पर मिटाते,
ज्ञान रूपी समिधा से जीवन सुंदर बना देते।
निज देश की सुंदर बगिया के वे होते माली,
निखरी उनसे अखंड देश की हरेक डाली।।

कुरीतियों के ख़िलाफ़ युवाओं का युद्ध है,
दृढ़ इच्छा-शक्ति से ही हर कार्य सिद्ध है।
युवा-शक्ति ही आज़ाद भारत के सूत्रधार थे,
नवीन सोच से देश-भविष्य का आधार थे।।

स्वामी विवेकानंद ने किया इनका आह्वान,
युवा-शक्ति पर विचार थे अति ही मूल्यवान।
युवकों का प्रेरक-व्यक्तित्व यही तो कहलाते,
तभी जयंती युवा-दिवस रूप में हम मनाते।।

अर्चना कोहली - नोएडा (उत्तर प्रदेश)

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