दो हफ्तों के लिए डाउन को बढ़ा दिया गया है । लॉक डाउन 3 के लिए नई गाइडलाइन भी जारी कर दी गयी है ।
आपको बता दें कि अकेला भारत ही नहीं है जो लॉक डाउन से बाहर निकलने की कोशिश कर रहा है ,बल्कि वे देश भी हैं जो अब तलक लाक डाउन से बाहर आने का प्लान बना चुके हैं, जहां कोरोना ने जबरदस्त तबाही मचा रखी है ।
कोरोना वायरस हिंदुस्तान पर ही नहीं बल्कि पूरे दुनिया पर कहर मचाये है मगर इससे बचने का जो रास्ता चीन ने दिखाया उसी पर पूरी दुनिया अब तक आगे बढ़ रही है। क्योंकि जिसने भी लॉक डाउन में देरी की ,उसी देश का बुरा हाल हुआ ,भले ही वह अमेरिका ,इटली, फ्रांस ,स्पेन व जर्मनी हो । मगर अब दुनिया की तीन चौथाई आबादी पिछले कई महीनों से लॉक डाउन मे कैद है । परन्तु भारत अब अर्थव्यवस्था को बचाने के लिए धीरे-धीरे एग्जिट प्लान तैयार कर रहा है। जाहिर है कि लॉक डाउन से बाहर आने के लिए भारत सावधानी के साथ इससे बाहर आने की योजना तैयार कर रहा है । हालांकि भारत के हालात दूसरे देशों से बेहतर है। लेकिन कोरोनावायरस के कहर के मद्देनजर इसे पूरी तरह नही खोला जा सकता न ही इसे बिल्कुल खोलकर मेहनत पर पानी फेरा जा सकता ।
इसलिए दुनिया के दूसरे देशों की तरह भारत भी कई दौर में इसे लाने के रास्ते पर ही आगे बढ़ेगा ,। यही वजह थी कि 3 मई को लॉक डाउन नहीं हटा । रेड जोन इलाकों में सख्ती से पालन की आवश्यकता है ,इसके बाद ऑरेंज और ग्रीन के साथ छूट दी गई है। कोशिश की जा रही है की ऑरेंज जोन धीरे धीरे ग्रीन जोन मे बदला जा सके ।
ईरान ,इटली और वुहान में लॉक डाउन समाप्त हो चुका है, । स्पेन में आंशिक तौर पर हटा दिया गया है । यह वह तमाम देश है जहां कोरोना का कहर अभी खत्म नहीं हुआ है ,मगर क्या करें,वहाँ अर्थव्यवस्था बिगड़ने के डर से लॉक डाउन खोल दिया गया। क्योंकि कोरोनावायरस से बचेंगे तो भुखमरी से मरेंगे । बस यही एक समस्या है ।इसलिए लॉक डाउन को आंशिक तौर पर धीरे धीरे खोला जा रहा है।
सुषमा दीक्षित शुक्ला