संदेश
विधा/विषय "साथ"
अपनों का साथ - कविता - पुनेश समदर्शी
गुरुवार, दिसंबर 03, 2020
साथ अगर हो अपनों का, ये सौगातें क्या कम हैं, खुशियाँ दूनीं हो जातीं, साथ में तुम और हम हैं। रिश्ता लम्बा रखना हो तो, सच ही सच तुम बो…
अपना ही हमसफर जीवन मे साथ निभाये - कविता - चीनू गिरि
रविवार, जून 14, 2020
अपना ही हमसफर जीवन मे साथ निभाये , दूसरो के हमसफर मे ना हमसफर खोजिये! इंसान नही गलत होता हालात गलत होते है , उसे बेवफा कहने से …