जिम्मेदारी - कविता - सुधीर श्रीवास्तव

ये देश हमारा है
बस इसी गुमान में मत रहिए
देश से प्यार भी कीजिए,
आपकी भी कुछ जिम्मेदारियां भी हैं
उसका भी निर्वाह कीजिए।
देश और देश के संसाधनों पर
आपका भी हक है
इसमें नया क्या है?
देश के प्रति आपकी भी
कुछ कर्तव्य भी 
उसे भी तो कीजिये।
ये मत भूलिए
कि देश आपका है
आपसे नहीं है,
आप देश से हैं
देश आपसे नहीं है।
गुरुर भर मत कीजिए
कि देश हमारा है,
अपनी जिम्मेदारी निभाइए
देश को आगे बढ़ाइए
देश को सबसे आगे ले जाना है
एकता और विकास का 
परचम लहराना है,
आइए! आप भी 
कंधे से कंधा मिलाइए
हम सब अपनी अपनी
यथोचित जिम्मेदारी निभायें
तब कहें देश हमारा है
तो हमारी जिम्मेदारी भी है।

सुधीर श्रीवास्तव - बड़गाँव, गोण्डा (उत्तर प्रदेश)

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