वो हंसी पल वो तराना सुहाना याद है,
हम मिले थे आपसे वो ज़माना याद है।
खिल उठा था चमन चहक उठी वादियाँ सभी,
ख़ुशियाँ बरस पड़ी महक उठी बगिया तभी।
प्रीत भरी मीठी बातें तुम संग मुस्काना याद है,
हम मिले थे आपसे वो ज़माना याद है।
फूलों सा खिलता चेहरा झौंका मस्त बहारों का,
कुदरत भी रंग बिखेरे भावन हसीं नज़ारों सा।
थोड़ा तेरा शर्माना वो इठलाना याद है,
हम मिले थे आपसे वो ज़माना याद है।
प्यार के मोती सजाते दिलों के संसार में,
चैन की बंशी बजती तेरे मेरे प्यार में।
तेरे नाम की वो चर्चा गुनगुनाना याद है,
हम मिले थे आपसे वो ज़माना याद है।
सागर सी उमंगे मन में खिलती बहार सी,
गीतों की लड़ियाँ सजती तेरे मेरे प्यार की।
सावन की बूँदों सा तेरा दिल मिलाना याद है,
हम मिले थे आपसे वो ज़माना याद है।
रमाकांत सोनी - झुंझुनू (राजस्थान)