मिसाइल मैन कलाम - कविता - पुनेश समदर्शी

मिसाइल निर्माण भारत में कलाम कर रहे, 
सारे देश विश्व के सलाम कर रहे।

चीन, रूस, अमेरिका, लंका हिला दिया, 
कलाम जी ने विश्व में डंका बजा दिया।

अतुलनीय प्रतिभा जब भारत को मिल गई, 
परमाणु बम देख देश में, दुनियाँ हिल गई।

सारे जहाँ में कलाम जी के मुरीद हैं घने, 
गर्व हुआ विश्व को जब राष्ट्रपति बने।

द्वितीय बार राष्ट्रपति की न कुर्सी संभालनी है, 
शिक्षक बन देश में प्रतिभा निखारनी है।

संघर्ष कर कलाम जी सितारे हो गये, 
युवाओं के आदर्श, बच्चों के प्यारे हो गये।

लगन और परिश्रम का परिणाम मिल गया, 
भारत रत्न का कलाम जी को सम्मान मिल गया।

पुनेश समदर्शी - मारहरा, एटा (उत्तर प्रदेश)

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