हिन्दी है अभिमान हमारा - गीत - सिम्पी पटेल

हिन्दी जननी, हिन्दी गौरव, हिन्दी है अभिमान हमारा,
हिन्दी हेतु समर्पित है धन वैभव प्राण हमारा।

कितनी मधुर सुरीली भाषा संस्कार इसकी परिभाषा,
जो सहज ही सीखी जाए ऐसी सुगम सरलतम भाषा।

बच्चे बूढ़े और जवान सब हिन्दी से करते प्यार,
बात समझकर इक दूजे की करते हैं अच्छा व्यवहार।

हिन्दी का सम्मान करो तुम हिन्दी का उत्थान करो तुम,
हिन्दी समझो, हिन्दी बोलो, हिन्दी का विस्तार करो तुम।

गौरव गाथा छिपी हुई है हिन्दी की पहचान में,
अक्षर-अक्षर अक्षुण इसका शाश्वत नीति निधान में।

हिन्द देश के बच्चों आओ मिलकर शपथ उठा लें आज,
हिन्दी विश्व विजेता हो पहनाए इसको हम ताज।

भारत माता के माथे पर हिन्दी का तिलक लगाएँगे,
युग युग अविरत अटल रहे जो वह स्थान दिलाएँगे।

सिम्पी पटेल - जनपद उन्नाव (उत्तर प्रदेश)

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